वी. टी. राजशेखर शेट्टी और उसकी भारत विरोधी योजना-1
‘विध्वंसक चौकड़ी’ की जड़ों तक पड़ताल करने से पूर्व उस षड्यंत्र को गहराई से समझना आवश्यक है; जो भारत के पंथनिरपेक्ष बहुलतावादी समाज (हिन्दु समाज) को बांटने के लिए रचा गया है।
हमारी विविधता और समाज में उपस्थित कतिपय मतभेदों का सहारा लेकर हमारे बीच दरार डालने की, समाज को तोड़ने, बांटने की कोशिश की जा रही है।
इस एजेंडा के पीछे मानसिकता व सोच यही है कि- जिहादियों और मिशनरियों को उनके कुत्सित कार्यक्रमों को कार्यान्वित करने के लिए सुविधाजनक वातावरण मिल सके, और ये लोग अपना एजेंडा व दुष्प्रचार बिना किसी व्यवधान के बेरोक-टोक जारी रख सकें…।
इस दुष्प्रचार के कुछ प्रमुख प्रणेताओं में से एक वी. टी. राजशेखर शेट्टी भी थे। देश में उनके जैसे तमाम और भी थे और आज भी विद्यमान हैं।
कैसे उसके माध्यम से इस षड़यंत्र की नींव रखी गई। तत्पश्चात इस्लामिक जिहादियों, इसाई मिशनरियों और अन्य राष्ट्र-विरोधी शक्तियों ने कैसे इसका प्रचार-प्रसार किया, इन षड्यन्त्रों को खुले दिमाग समझना आवश्यक है।
हिन्दुओं की एक सवर्ण जाति, शेट्टी समाज, से आने वाले वी.टी. राजशेखर कैसे दलित हितों के स्वयंभू पैरोकार बन गए…।
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